Thursday 24 September 2020 04:41 PM IST : By Ruby Mohanty

अापके शरीर को लाभ पहुंचानेवाला स्टोन है फिरोजा

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ज्योतिष शास्त्र में माना जाता है कि कोई भी विपदा या दुर्घटना होने से पहले धारण किए हुए फिरोजे के रंग में परिवर्तन हो जाता है। इसीलिए पहले से सतर्क होने व विपदा से बचने के उपाय करने का पर्याप्त समय मिलता है। पर इसके लिए फिरोजा पर गौर करते रहना होगा।
अापकी ज्वेलरी कलेक्शन में कई तरह की स्टोन स्टडेड ज्वेलरी होंगी, पर सेमी प्रीशियस स्टोन फिरोजा के भी एक-दो पीस अपनी ज्वेलरी बॉक्स में शामिल करें जैसे कान के बूंदे, पेंडेंट, अंगूठे में पहने जानेवाली बड़े साइज की अंगूठी। फिरोजा की सेटिंग मूल रूप से चांदी पर खूबसूरत लगती है अौर उपचार की नजर से भी फिरोजा चांदी पर ही पहना जाता है। इसे सीधे हाथ की बीचवाली या अनामिका उंगली में पहनें या गले में चांदी की चेन में लॉकेट के रूप में इस तरह धारण करें कि सीने के बीचोंबीच अाए। फिरोजा कम से कम 3-5 रत्ती की होनी चाहिए अौर जब भी उंगली में पहनें, तो ध्यान रखें यह त्वचा से छूती हुई होनी चाहिए।
फिरोजा स्टोन 3-4 अलग-अलग शेड्स मिलते हैं जैसे एपल ग्रीन, ग्रीनिश ग्रे, ग्रीनिश ब्लू। सबसे अच्छा रंग अासमानी नीला माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र की दुनिया में भले ही इसे उप रत्न माना गया है, पर सस्ता होने बाद भी व्यक्तित्व अौर निजी जिंदगी में इसका असर तेज होता है। यह जीवन में दुर्भाग्य को खत्म कर सकता है।

असली फिरोजा

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फिरोजा बाजार में अासानी से उपलब्ध हो जाता है। असली फिरोजा रत्न से तैयार ज्वेलरी हाथों पर नहीं चिपकती। असली फिरोजा थोड़ा महंगा होता है। असली फिरोजा अाग में अपना रंग नहीं छोड़ता। इसे सही लैब से प्रामाणिक रत्न के तौर पर किसी अच्छे एस्ट्रोलॉजर या दुकान से ही खरीदें। यह प्राकृतिक रत्न है। फिरोजा रत्न तिब्बत, अफगानिस्तान, अॉस्ट्रेलिया, नार्थ इंडिया व तुर्कीस्तान के कई इलाकाें में पाया जाता है। क्लियरिटी, शेप अौर क्वाॅलिटी इस रत्न की गुणवत्ता का पैमाना है। यह जितना चमकदार, सपाट अौर एक रंग का होगा उतना ही अच्छा होगा है।

क्यों पहनें


दिल्ली के ज्योतिष शास्त्री अाचार्य संजय शर्मा के अनुसार फिरोजा रत्न धनु अौर मीन राशिवालों को जरूर पहनना चाहिए। इसके अलावा जिनकी कुंडली में बृहस्पति ग्रह कमजोर हो, उन्हें भी यह रत्न धारण करना चाहिए। यह बृहस्पति ग्रह को मजबूती प्रदान करता है। फिरोजा बृहस्पति ग्रह का रत्न होता है। जीवन में सुख-समृिद्ध अाती है। इसी वजह से इस रत्न को प्राचीन संस्कृति में धन के प्रतीक के रूप में जाना जाता था। अपनी उपचारात्मक शक्तियों के लिए भी यह प्रसिद्ध था। अाज भी ज्योतिष शास्त्र में फिरोजा अपनी खास जगह रखता है।  यह ऐसा खूबसूरत किफायती रत्न है, जो मन को बैलेंस रखता है। अांखों की रोशनी पर भी अच्छा प्रभाव डालता है। यही नहीं, यह िलवर, किडनी संबंध रोगों से खतरे को कम करने के साथ हाई ब्लड प्रेशर भी कंट्रोल में रखता है।

व्यक्तित्व पर प्रभाव  

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फिरोजा स्टोन दोस्ती, साहस अौर अाशा का प्रतीक भी है। शौकिया तौर पर या उपचार की नजर से इसे कोई भी पहन सकता है। अगर पति-पत्नी के बीच अनबन हो या दोस्तों-सहेलियों में ठन गयी हो, तो दोनों में कोई एक अपने साथी या दोस्त को फिरोजा उपहार के तौर पर दे सकता है। कुछ ही दिनाें में अापकी समस्या हल हो जाएगी। फिरोजा सामाजिक प्रतिष्ठा को बढ़ाता है। इतना ही नहीं, यह मानसिक स्थिति को भी मजबूत बनाता है। फिरोजा रत्न पहनने से व्यक्तित्व में अाकर्षण अाता है व रचनात्मकता शैली भी सुधरती है। पहननेवाले की संवेदनशीलता अौर सोचने की शक्ति में सुधार होता है। यह मन में सकारात्मकता व अात्मसम्मान बढ़ाता  है। माना जाता है इसे पहनने पर व्यक्ति ईश्वर के करीब होता है।